स्मार्ट बागवानी टिप्स: AI और टेक्नोलॉजी का बागवानी में उपयोग: भविष्य की हरित क्रांति
et May 06, 2025 08:42 AM
आज का युग टेक्नोलॉजी और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) का युग है। हर क्षेत्र में एआई ने क्रांति ला दी है। इससे बागवानी का क्षेत्र भी अछूता नहीं रहा है। बागवानी करने वाले कई किसान एआई और टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रहे हैं। ये तकनीकें न केवल समय और संसाधनों की बचत करती हैं, बल्कि पर्यावरणीय प्रभाव को भी कम करती हैं। मिट्टी की गुणवत्ता, पौधों की देखभाल, पानी के प्रबंधन और कीट नियंत्रण जैसे क्षेत्रों में भी तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा। इसे भविष्य की हरित क्रांति कहा जा रहा है। बागवानी में AI और टेक्नोलॉजी के उपयोग को समझें 1. स्मार्ट इरिगेशन सिस्टमआज पानी की समस्या एक वैश्विक मुद्दा है। लेकिन तकनीक ने इस समस्या को कम करने का प्रयास किया है। तकनीक पर आधारित स्मार्ट इरिगेशन सिस्टम मौसम, मिट्टी की नमी और पौधों की जरूरतों के आधार पर पानी का सटीक उपयोग सुनिश्चित करते हैं। इसमें सेंसर के द्वारा पहले मिट्टी की नमी को मॉनिटर किया जाता है, जिसके बाद आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एल्गोरिथम के माध्यम से पानी की मात्रा को नियंत्रित किया जाता है। इससे पौधों को सही मात्रा में पानी मिलने के साथ ही पानी की बर्बादी भी कम होती है. 2. आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की सहायता से पौधों की निगरानीकिसान आजकल एआई संचालित ड्रोन का इस्तेमाल कर रहे हैं। इनमें लगे कैमरे की सहायता से पौधों की निगरानी की जाती है। इससे पौधों में रोग, कीटों, पोषक तत्वों की कमी का जल्दी पता चल जाता है। जिसका निदान करके किसानों को होने वाले नुकसान को कम किया जा रहा है। 3. स्वचालित रोबोट और ड्रोन का इस्तेमालआजकल कई क्षेत्रों में रोबोट का इस्तेमाल किया जा रहा है। ऐसे ही कृषि में भी रोबोटिक्स और ड्रोन कई कार्यों को स्वचालित कर रहे हैं। इनके माध्यम से बीज बोना, खरपतवार हटाना या फसल की कटाई करने जैसे कामों को आसानी से किया जा रहा है। इससे पर्यावरण पर कम प्रभाव पड़ने के साथ ही श्रम लागत में कमी से किसानों का मुनाफा बढ़ता है। 4. मिट्टी की गुणवत्ता की जांचमिट्टी की गुणवत्ता की जांच करने, पीएच स्तर का पता लगाने और पोषक तत्वों की सही मात्रा का विश्लेषण करने के लिए भी एआई तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा है। इसे सही उर्वरक और मिट्टी प्रबंधन में लाभ मिल रहा है। 5. सटीक मौसम पूर्वानुमानआर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित मौसम मॉडल बागवानों को सटीक मौसम का पूर्वानुमान दे रहे हैं। ताकि किसान बुवाई, सिंचाई या कटाई के लिए सही समय पर योजनाएं बना सके। इसके साथ ही तकनीक से उन्हें नुकसान कम हो रहा है। बागवानी में इन तकनीकों का प्रमुख रूप से हो रहा है इस्तेमाल 1. इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT) नाम की इस तकनीक के माध्यम से सेंसर और डिवाइस के माध्यम से डाटा एकत्रित किया जाता है।2. डेटा विश्लेषण और भविष्यवाणी के लिए मशीन लर्निंग का इस्तेमाल होता है। 3. खेतों में निगरानी के लिए ड्रोन और रोबोटिक्स का इस्तेमाल किया जा रहा है। 4. डाटा स्टोरेज और रियल टाइम विश्लेषण के लिए क्लाउड कंप्यूटिंग किसानों के काम आ रही है। भारत एक कृषि प्रधान देश है, जहां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और टेक्नोलॉजी बागवानी की तकनीक को बदल रहे हैं। सरकार के द्वारा भी कई पहले शुरू की गई है जैसे डिजिटल इंडिया कृषि 4.0, जिससे की स्मार्ट बागवानी को बढ़ावा मिल सके।
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