प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को राजस्थान और गुजरात में 25 जगहों पर एक साथ छापेमारी की। यह कार्रवाई नेक्सा एवरग्रीन प्रोजेक्ट में निवेश के नाम पर 2700 करोड़ रुपये की ठगी से जुड़ी है। जिसमें अलग-अलग राज्यों के 62 हजार लोगों से ठगी की गई है। इस मामले में ईडी ने जयपुर, सीकर, जोधपुर और झुंझुनू में एक साथ छापेमारी की।
2.4 करोड़ रुपये नकद और 15 करोड़ रुपये के बैंक खाते फ्रीज
इन छापों में ईडी ने 2.4 करोड़ रुपये नकद, डिजिटल उपकरण और अन्य चीजें बरामद की हैं। इसके अलावा इस मामले में शामिल कंपनियों और सहयोगियों के बैंक खाते और क्रिप्टो फ्रीज किए गए। इनमें से 15 करोड़ रुपये से अधिक खाते फ्रीज किए गए हैं। जिसके आधार पर अनुमान लगाया जा रहा है कि इस ठगी की रकम 2700 करोड़ रुपये से अधिक होने वाली है।
क्या है नेक्सा एवरग्रीन प्रोजेक्ट
नेक्सा एवरग्रीन को रियल एस्टेट गतिविधि के लिए 2021 में अहमदाबाद में पंजीकृत किया गया था। इसके मालिक सीकर के पनलावा निवासी सुभाष और रणवीर बिजारानी हैं। शुरुआत में इन्होंने गुजरात के धोलेरा स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट में निवेश के नाम पर लोगों से पैसे लेने शुरू किए। इसमें निवेश करने पर उन्हें दोगुना ब्याज रिटर्न, हर हफ्ते खाते में ब्याज का पैसा, नया ग्राहक जोड़ने पर कमीशन, धोलेरा सिटी में प्लॉट आदि का लालच दिया गया।
ऐसे फंसाते थे निवेशक
पैसा निवेश करने के बाद कंपनी हर हफ्ते रिटर्न का पैसा सीधे खाते में ट्रांसफर करती थी। जब लोगों को कंपनी पर विश्वास होने लगा तो कई लोगों ने अपनी जमीनें बेचकर भी कंपनी में पैसा लगाना शुरू कर दिया। कुछ हफ्तों तक तो लोगों के खातों में पैसे आए। हालांकि बाद में लोगों के खातों में पैसे आना बंद हो गए।