एसी खरीद युक्तियाँ: देश के कई हिस्सों में गर्मी 50 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच चुकी है। ऐसे में अगर आप भी अपने घर के लिए नया एयर कंडीशनर (AC) खरीदने की सोच रहे हैं, तो यह खबर आपके लिए बेहद जरूरी है। आमतौर पर लोग एसी खरीदते समय टन कैपेसिटी पर ध्यान देते हैं, जैसे 1 टन, 1.5 टन या 2 टन। लेकिन क्या आप जानते हैं कि एक और छोटा लेकिन बेहद महत्वपूर्ण फैक्टर है, जो आपकी कूलिंग क्वालिटी और बिजली बिल को सीधा प्रभावित करता है?
जब भी आप एसी खरीदने जाएं, तो यह न सोचें कि सिर्फ टन ज्यादा होने से ठंडक भी ज्यादा मिलेगी। असली ठंडक इस बात पर निर्भर करती है कि उस एसी की कूलिंग कैपेसिटी कितनी है।
कूलिंग कैपेसिटी (Cooling Capacity) का सीधा मतलब है कि आपका एसी कितने वॉट की शक्ति से कमरे को ठंडा कर सकता है। उदाहरण के लिए, आपने 1.5 टन का एसी खरीदा है, लेकिन उसकी कूलिंग कैपेसिटी सिर्फ 3000W है, तो वह ज्यादा प्रभावी नहीं होगा। वहीं, किसी और ब्रांड का वही 1.5 टन एसी अगर 5000W कूलिंग कैपेसिटी दे रहा है, तो वह बहुत तेज और कुशलतापूर्वक ठंडक देगा।
अगर आपने कम कूलिंग कैपेसिटी वाला एसी चुना है, तो वह आपके कमरे को ठंडा करने में ज्यादा वक्त और ऊर्जा खर्च करेगा। नतीजतन, कंप्रेसर ज्यादा देर तक चलेगा और बिजली बिल ज्यादा आएगा। इसके विपरीत, अगर आपके एसी की कूलिंग कैपेसिटी अधिक है, तो वह तेजी से ठंडक देगा और कंप्रेसर को ज्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ेगी।
अगर आप मध्यम आकार के कमरे के लिए एसी खरीद रहे हैं, तो कोशिश करें कि उसकी कूलिंग कैपेसिटी कम से कम 3500W या उससे ऊपर हो। वहीं, बड़े हॉल या ऑफिस जैसे स्पेस के लिए आप 5000W या उससे अधिक की कूलिंग क्षमता वाला एसी चुनें। इससे आपको बढ़िया कूलिंग के साथ बिजली की बचत भी मिलेगी।
टन दरअसल एक मानक इकाई (unit) है जो इंगित करती है कि एसी कितनी हीट हटा सकता है। लेकिन यह मानक पूरी ठंडक की गारंटी नहीं देता। कूलिंग कैपेसिटी वह वास्तविक शक्ति है, जिससे पता चलता है कि एसी कितनी जल्दी और कितनी प्रभावी ढंग से ठंडा करेगा।
कूलिंग कैपेसिटी की जानकारी हर एसी ब्रांड अपने स्पेसिफिकेशन चार्ट में देता है। लेकिन आमतौर पर ग्राहक सिर्फ टन, स्टार रेटिंग और ब्रांड देखकर खरीदारी कर लेते हैं और इस अहम पैरामीटर को नजरअंदाज कर देते हैं। नतीजा—कम ठंडक और ज्यादा बिजली खर्च।