प्रथम श्रेणी प्रवेश नियम: हिमाचल प्रदेश सरकार ने शिक्षा सत्र 2025-26 के लिए सरकारी स्कूलों में दाखिले को लेकर अहम फैसला लिया है. अब नर्सरी से लेकर पहली कक्षा तक बच्चों के दाखिले के लिए उम्र सीमा निर्धारित कर दी गई है. शिक्षा विभाग की ओर से नई गाइडलाइन अधिसूचित कर दी गई है, जिसे सभी स्कूलों में तत्काल लागू करने के निर्देश दिए गए हैं.
हाल ही में हुई राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई थी, जिसके बाद शिक्षा विभाग ने शुक्रवार को अधिसूचना जारी कर दी. अधिसूचना के साथ ही सभी स्कूलों को निर्देशित किया गया है कि नए शैक्षणिक सत्र 2025-26 से दाखिले केवल नई आयु सीमा के अनुसार ही किए जाएं.
शैक्षणिक सत्र 2023-24 के दौरान नर्सरी, एलकेजी और यूकेजी में पहले से दाखिल बच्चों की उम्र कुछ मामलों में तय सीमा से कम थी. ऐसे बच्चों के लिए शिक्षा विभाग ने इस वर्ष छह माह की विशेष छूट दी है. ताकि कक्षा 1 में प्रवेश लेते समय उन्हें किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े.
शिक्षा विभाग की नई गाइडलाइन के अनुसार अब कक्षा-पूर्व (pre-primary) और कक्षा-1 में दाखिला आयु के आधार पर ही किया जाएगा. नीचे दी गई है कक्षा अनुसार निर्धारित उम्र:
इन नियमों के अनुसार 31 मार्च तक 6 साल की उम्र पूरी करने वाले बच्चों को कक्षा एक में दाखिला मिलेगा.
यह नया प्रावधान राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP-2020) के दिशानिर्देशों के अनुसार लागू किया गया है. नीति के मुताबिक, बच्चों की शुरुआती शिक्षा को और अधिक मजबूत बनाने के लिए उम्र के अनुसार कक्षा निर्धारित की गई है.
NEP के अनुसार, प्रारंभिक शिक्षा (Foundational Stage) को व्यवस्थित करने के लिए यह कदम जरूरी माना गया है.
हिमाचल सरकार ने इस साल एक और विशेष छूट की घोषणा की है. जिन बच्चों की उम्र 30 सितंबर 2025 तक 6 वर्ष पूरी हो रही है, उन्हें भी कक्षा एक में दाखिले की अनुमति दी गई है.
यह छूट केवल वर्तमान वर्ष 2025-26 के लिए ही दी गई है. अगले वर्ष से दाखिला केवल उन्हीं बच्चों को मिलेगा जो 31 मार्च तक 6 साल के हो चुके होंगे.
शिक्षा विभाग ने साफ कर दिया है कि यह नियम केवल सरकारी स्कूलों पर ही नहीं बल्कि राज्य के सभी निजी स्कूलों पर भी समान रूप से लागू होंगे.
यदि कोई स्कूल इससे अलग नियमों के तहत दाखिला करता है, तो विभाग उसकी जवाबदेही तय करेगा और आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.
विशेषकर नर्सरी में 3 साल से कम उम्र के बच्चे का दाखिला पाए जाने पर, संबंधित स्कूल के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
बच्चों के अभिभावकों को यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके बच्चे की उम्र निर्धारित मानदंडों के अनुसार ही है. यदि दस्तावेजों में गड़बड़ी पाई गई या नियमों की अनदेखी हुई तो आगे चलकर प्रवेश रद्द भी हो सकता है.
अभिभावकों को स्कूल में दाखिला कराने से पहले उम्र संबंधी दस्तावेज (जन्म प्रमाण पत्र) जरूर जांच लेना चाहिए.