बॉलीवुड की मशहूर एक्ट्रेस काजोल और रानी मुखर्जी से जुड़ी एक ऐतिहासिक जगह का अब कायापलट होने जा रहा है. फिल्मिस्तान स्टूडियो, जिसे उनके दादा शोमू मुखर्जी के पिता ने बनाया था, अब एक लक्ज़री रियल एस्टेट प्रोजेक्ट में तब्दील होने वाला है. यह स्टूडियो 82 साल पुराना है और बॉलीवुड के ‘गोल्डन एरा’ का गवाह रह चुका है.
इस ऐतिहासिक संपत्ति को Rs 3,000 करोड़ की एक बड़ी डील के तहत मुंबई में एक पॉश रेसिडेंशियल प्रोजेक्ट में बदला जाएगा. यह डील NDR ग्रुप और Lotus Developers के बीच हुई है.
अब बनेगा लग्जरी अपार्टमेंटफिल्मिस्तान स्टूडियो, जो कभी राज कपूर, दिलीप कुमार, अशोक कुमार और देव आनंद जैसी दिग्गज हस्तियों की फिल्मों की शूटिंग का केंद्र हुआ करता था, अब उन लोगों के लिए एक आलीशान घर बनने जा रहा है जो मुंबई के सबसे प्रीमियम लोकेशन में रहना चाहते हैं.
फिल्मिस्तान स्टूडियो अब इतिहास बनने की कगार पर है. 3 जुलाई को इसका रजिस्ट्रेशन हुआ और अब यह 3000 करोड़ रुपये की लागत वाले लग्जरी अपार्टमेंट प्रोजेक्ट में तब्दील होने जा रहा है. ‘हिंदुस्तान टाइम्स’ की रिपोर्ट के अनुसार, अर्केड डेवलपर्स लिमिटेड इस भव्य प्रोजेक्ट को 2026 तक लॉन्च करने की योजना बना रहा है. इसमें 50 मंज़िलों वाले दो ऊंचे टावर होंगे, जिनमें 3, 4 और 5 BHK फ्लैट्स के साथ पेंटहाउस भी शामिल होंगे.
यह मुंबई का तीसरा ऐसा स्टूडियो होगा जिसे मल्टी-स्टोरी बिल्डिंग में बदला जाएगा. इससे पहले चेंबूर का आरके स्टूडियो और जोगेश्वरी का कमालिस्तान स्टूडियो पहले ही रिहायशी इमारतों में बदल दिए गए हैं.
यहां से हुई थी फंडिंगफिल्मिस्तान स्टूडियो में कई आइकॉनिक फिल्मों की शूटिंग हुई थी, जैसे ‘तुमसा नहीं देखा’ और ‘जागृति’, जिसने बेस्ट फिल्म का फिल्मफेयर अवॉर्ड भी जीता था. यहीं पर अनगिनत फिल्मों के शादी और अंतिम संस्कार जैसे भावनात्मक सीन शूट किए गए हैं. यहां का मशहूर मंदिर सेट आज भी मौजूद है, हालांकि अब धूल में छिप गया है.
पांच एकड़ में फैले इस स्टूडियो में सात इनडोर शूटिंग फ्लोर और एक गार्डन जैसी आउटडोर लोकेशन भी है. कहा जाता है कि इसकी स्थापना में हैदराबाद के निज़ाम, मीर उस्मान अली खान ने आर्थिक सहायता दी थी. यहां शहीद (1948), अनारकली (1953), नागिन (1954) और पेइंग गेस्ट (1957) जैसी सुपरहिट फिल्में बनीं.