क्या रोज़ाना स्ट्रेचिंग और वॉक से हड्डियां फिट रहती हैं? जानिए एक्सपर्ट की राय
TV9 Bharatvarsh July 07, 2025 05:42 PM

Walking and stretching: हड्डियां हमारे शरीर का ढांचा होती हैं, जो न केवल हमें आकार देती हैं, बल्कि अंदरूनी अंगों की सुरक्षा भी करती हैं. लेकिन जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है Bone Density कम होने लगती है और उन्हें मजबूत बनाए रखना मुश्किल हो जाता है. ऐसे में यह सवाल उठना लाज़मी है कि क्या रोजाना की छोटी-छोटी आदतें जैसे वॉक और स्ट्रेचिंग से हड्डियां वाकई मजबूत बनी रह सकती हैं? एक्सपर्ट्स का कहना है कि हां, सही तरीके से की गई नियमित वॉक और स्ट्रेचिंग हड्डियों की सेहत को बनाए रखने में अहम भूमिका निभा सकती हैं

ग्रेटर नोएडा के कैलाश अस्पताल में आर्थोपैडिक विभाग में डॉ. संकल्प जायसवाल बताते हैं किरोज़ाना तेज़ चाल से की गई वॉक एक तरह का वेट-बेयरिंग एक्सरसाइज है. जब आप चलने के दौरान अपने शरीर का वजन पैरों पर डालते हैं, तो ये हड्डियों की Density पर प्रेशर पड़ता है, जिससे नई कोशिकाएं बनने लगती हैं. इससे हड्डियों का घनत्व बना रहता है और ऑस्टियोपोरोसिस (इसमें हड्डियां इतनी कमजोर हो जाती हैं कि मामूली चोट या गिरने से भी फ्रैक्चर हो सकता है) जैसी बीमारियों का खतरा कम होता है.

स्ट्रेचिंग के फायदे –

वहीं स्ट्रेचिंग मांसपेशियों को लचीला बनाती है और जोड़ों को गतिशील बनाए रखती है. इससे शरीर की पॉश्चर सुधरती है और हड्डियों पर अनावश्यक दबाव नहीं पड़ता. स्ट्र.चिंग से ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है, जिससे हड्डियों और मांसपेशियों को पोषण भी अच्छी तरह मिलता है.

एक्टिव लाइफस्टाइल-

अगर आप लंबे समय तक एक ही पोजिशन में बैठे रहते हैं या आपका लाइफस्टाइल एक्टिव नहीं है, तो स्ट्रेचिंग आपके शरीर में जमे हुए तनाव को कम करने और जोड़ों को खोलने का काम करती है. इससे हड्डियों पर असर डालने वाले मसल टाइटनेस को रोका जा सकता है.

5 दिन, 30 मिनट की वॉक क्यों जरूरी-

डॉक्टर्स और फिजियोथेरेपिस्ट्स के मुताबिक, हफ्ते में कम से कम 5 दिन, 30 मिनट की वॉक और दिन में 10 से 15 मिनट स्ट्रेचिंग करना हड्डियों की मजबूती के लिए काफी फायदेमंद है. साथ ही कैल्शियम और विटामिन D युक्त आहार भी ज़रूरी है, क्योंकि एक्सरसाइज से मिलने वाला फायदा तभी पूरी तरह मिलता है जब शरीर को पोषण भी सही मिले.

आज की लाइफस्टाइल में फिट रहना केवल अच्छे दिखने के लिए नहीं, बल्कि बीमारियों से बचने और मानसिक रूप से स्वस्थ रहने के लिए भी ज़रूरी है. बहुत से लोग यह सवाल करते हैं कि क्या सिर्फ रोज़ाना वॉक और स्ट्रेचिंग करना ही काफी है, या और भी कुछ शामिल करना चाहिए. अगर आप वाकई फिट रहना चाहते हैं, तो इसके साथ हल्की स्ट्रेंथ ट्रेनिंग, योग, संतुलित डाइट और अच्छी नींद भी अपनाएं। हर उम्र में फिट रहना संभव है, बस ज़रूरत है एक संतुलित रूटीन और थोड़ी सी लगन की.

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