नहीं है इस लड़के के पास अंगूठा Image Credit source: Social Media
मानव शरीर एक अद्भुत रचना है, जिसमें हर अंग का अपना महत्व है। कभी-कभी हम इसकी अहमियत को नहीं समझ पाते, लेकिन जब किसी अंग की कमी होती है, तब हमें उसकी आवश्यकता का एहसास होता है। उदाहरण के लिए, हाथ का अंगूठा, जो आकार में छोटा है, लेकिन इसके बिना दैनिक कार्य करना कठिन हो जाता है। नीदरलैंड्स में रहने वाले कियो आल्बर्स ने इस धारणा को चुनौती दी है।
कियो आल्बर्स, 26 वर्ष के हैं, जिनका जन्म चीन में हुआ था और वे बिना अंगूठों के पैदा हुए। चार महीने की उम्र में उन्हें गोद लिया गया और वे नीदरलैंड्स चले आए। हालांकि, यूरोप में रहते हुए भी उन्हें हमेशा ऐसा महसूस हुआ कि यह जगह उनके लिए पूरी तरह से घर नहीं है। बचपन से ही अंगूठों की कमी ने उन्हें असुरक्षित महसूस कराया। लेकिन समय के साथ, उन्होंने अपनी कमजोरी को ताकत में बदलने का निर्णय लिया।
कियो का कहना है कि उनकी ज़िंदगी में सबसे बड़ा बदलाव यात्रा के दौरान आया। उन्होंने कई देशों की यात्रा की, जिससे उनके आत्मविश्वास में वृद्धि हुई। उन्होंने महसूस किया कि उनकी कमी को बाधा नहीं, बल्कि प्रेरणा के रूप में देखा जा सकता है। इस सोच ने उन्हें खुद को स्वीकार करने और बिना अंगूठों के जीवन जीने का साहस दिया।
आज कियो एक कंटेंट क्रिएटर और इंग्लिश ट्यूटर हैं। उनके सोशल मीडिया पर हजारों फॉलोअर्स हैं, जहां वे अपने वीडियो के माध्यम से दिखाते हैं कि बिना अंगूठों के भी वे कैसे रोजमर्रा के कार्य कर लेते हैं। उनके वीडियो न केवल प्रेरणादायक होते हैं, बल्कि उनमें हल्की-फुल्की मस्ती भी होती है।
एक वीडियो में, कियो केवल चार उंगलियों से पानी की बोतल खोलते हैं और आसानी से पीते हैं। एक अन्य वीडियो में, वे फूलदान को घुमाते हैं, जैसे यह उनके लिए कोई चुनौती न हो। उनके फॉलोअर्स मजाक में कहते हैं कि यह उनकी सुपरपावर है।
कियो ने अपनी स्थिति को जीवन का बोझ नहीं बनने दिया, बल्कि इसे हंसी-मजाक का हिस्सा बना लिया है। वे कहते हैं कि वे इस बात का जीता-जागता उदाहरण हैं कि अंगूठे वैकल्पिक हैं। एक वीडियो में उन्होंने मजाक में कहा कि भगवान ने उंगलियां इतनी सुंदर बनाई हैं कि उन्होंने दो अपने पास रख लीं।
हालांकि, यह सच है कि बिना अंगूठों के जीवन हमेशा आसान नहीं होता। कियो ने एक वीडियो में दिखाया कि उपहार बॉक्स पर बंधी रिबन खोलना उनके लिए कितना कठिन हो सकता है। नए लोगों से मिलने पर भी उन्हें चिंता होती है कि लोग उनकी स्थिति को कैसे देखेंगे। लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी।
कियो की कहानी हमें यह सिखाती है कि किसी व्यक्ति का असली मूल्य उसकी सोच और आत्मविश्वास से निर्धारित होता है, न कि उसके शारीरिक रूप से। अंगूठे का महत्व कितना भी बड़ा क्यों न हो, लेकिन उससे कहीं अधिक महत्वपूर्ण है वह साहस, जिससे कोई अपनी कमी को स्वीकार कर प्रेरणा में बदलता है।