PM Vidyalaxmi Scheme: प्रधानमंत्री विद्यालक्ष्मी योजना का मुख्य उद्देश्य भारत के मेधावी छात्रों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने में वित्तीय सहायता प्रदान करना है. यह योजना विशेष रूप से उन छात्रों के लिए बनाई गई है, जो भारत के शीर्ष गुणवत्ता वाले उच्च शिक्षण संस्थानों (क्यूएचईएलI) में अध्ययन करना चाहते हैं. इस योजना के लिए सरकार ने ऑनलाइन पोर्टल विद्यालक्ष्मी पोर्टल लांच किया है. इस पोर्टल में छात्र कई बैंकों से एजुकेशन लोन ले सकते हैं. साथ ही, स्कॉलरशिप के लिए भी अप्लाई कर सकते हैं. आइए जानते हैं इस योजना के तहत छात्र किन देशों और संस्थानों में एजुकेशन प्राप्त कर सकेंगे.
विदेशी अध्ययन की स्थिति
प्रधानमंत्री विद्यालक्ष्मी योजना का मुख्य फोकस भारतीय संस्थानों पर है, लेकिन यह स्पष्ट नहीं किया गया है कि क्या इसके तहत छात्र विदेशों में अध्ययन करने के लिए भी लाभ उठा सकते हैं. आमतौर पर, ऐसी योजनाएं राष्ट्रीय स्तर पर लागू होती हैं और उनका लाभ केवल देश के भीतर स्थित संस्थानों तक सीमित होता है.
हालांकि, ये भी कहा जा रहा है कि यह योजना भारतीय छात्रों वैश्विक स्तर पर शिक्षा प्राप्त करने का अवसर भी देगी. इस योजना के तहत छात्र विभिन्न देशों में उच्च शिक्षा ग्रहण कर सकते हैं, जैसे कि संयुक्त राज्य अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, जर्मनी और फ्रांस. ये देश न केवल शिक्षा के क्षेत्र में प्रमुख माने जाते हैं, बल्कि इनकी विश्वविद्यालयों का वैश्विक स्तर पर काफी सम्मान है.
ये हैं संभावित विकल्प
यदि कोई छात्र विदेश में पढ़ाई करना चाहता है, तो उसे अन्य छात्रवृत्ति या वित्तीय सहायता योजनाओं की तलाश करनी होगी, जो विशेष रूप से अंतरराष्ट्रीय अध्ययन के लिए उपलब्ध हैं. भारत सरकार द्वारा विभिन्न योजनाएं और स्कॉलरशिप्स प्रदान की जाती हैं, जैसे कि “इंडिया स्कॉलरशिप” या “ग्लोबल इनीशिएटिव ऑफ अकादमिक नेटवर्क आदि. इस प्रकार, प्रधानमंत्री विद्यालक्ष्मी योजना का लाभ केवल भारत के शीर्ष 850 उच्च शिक्षण संस्थानों में पढ़ाई करने वाले छात्रों को मिलेगा, और इस योजना के तहत विदेशों में पढ़ाई करने की कोई स्पष्ट व्यवस्था नहीं है.