उदयपुर : भूपाल नोबल्स स्नातकोत्तर महाविद्यालय के दृश्य कला विभाग ने गुरु गोविंद सिंह जयंती के पावन अवसर पर एक भव्य चित्रकला प्रदर्शनी का आयोजन किया. इस आयोजन में छात्रों ने अपनी कलात्मक प्रतिभा का प्रदर्शन करते हुए गुरु गोविंद सिंह जी के जीवन, उनके प्रेरणादायक उपदेशों और अद्वितीय व्यक्तित्व को विभिन्न कलात्मक रूपों में प्रस्तुत किया. यह विशेष प्रदर्शनी विभागाध्यक्ष डॉ. कंचन राणावत के मार्गदर्शन में सफलतापूर्वक संपन्न हुई.
इस आयोजन का उद्देश्य केवल एक कला प्रदर्शनी तक सीमित नहीं था, बल्कि इसके माध्यम से छात्रों में रचनात्मकता और इतिहास के प्रति जागरूकता को भी बढ़ावा देना था. प्रदर्शनी में प्रदर्शित कलाकृतियों के माध्यम से छात्रों ने गुरु गोविंद सिंह जी के अद्वितीय व्यक्तित्व, उनके वीरतापूर्ण कार्यों और मानवता के प्रति उनके अटूट समर्पण को चित्रित किया.
महाविद्यालय अधिष्ठाता डॉ. रेणु राठौड़ ने अपने संबोधन में कहा, “दृश्य कला न केवल एक रचनात्मक अभिव्यक्ति का माध्यम है, बल्कि यह समाज और इतिहास के महत्त्वपूर्ण पहलुओं को समझाने का भी एक प्रभावी तरीका है. इस प्रकार के आयोजन छात्रों के बौद्धिक और कलात्मक विकास में सहायक होते हैं.”
प्रदर्शनी में प्रदर्शित कलाकृतियाँप्रदर्शनी में छात्रों द्वारा बनाई गई कई अनूठी और प्रेरणादायक कलाकृतियाँ प्रस्तुत की गईं. इनमें प्रमुख रूप से:
कार्यक्रम में छात्रों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया और अपनी कलात्मक प्रतिभा का प्रदर्शन किया. भाग लेने वाले प्रमुख छात्र-छात्राओं में दिनेश वागरिया, कंचन रावत, ईश्वर औदिच्य, सुयश शर्मा, घनश्याम लोहार, दिव्या व्यास और मनीषा का नाम उल्लेखनीय है.
अतिथियों की उपस्थितिकार्यक्रम में विश्वविद्यालय के चेयरपर्सन कर्नल प्रो. शिवसिंह सारंगदेवोत, सचिव डॉ. महेंद्र सिंह राठौड़, प्रबंध निदेशक मोहब्बत सिंह राठौड़ और कुल सचिव डॉ. निरंजन नारायण सिंह राठौड़ ने विशेष रूप से शिरकत की. उन्होंने छात्रों के उत्साह और उनके द्वारा बनाए गए उत्कृष्ट चित्रों की सराहना की. चेयरपर्सन ने अपने संबोधन में कहा, “इस प्रकार की प्रदर्शनी न केवल कला को बढ़ावा देती है, बल्कि हमारे गौरवशाली इतिहास से भी नई पीढ़ी को जोड़ने का एक सशक्त माध्यम बनती है.”
इस आयोजन को सफल बनाने में विभागाध्यक्ष डॉ. कंचन राणावत की महत्वपूर्ण भूमिका रही. उन्होंने छात्रों को रचनात्मक दृष्टिकोण अपनाने और गुरु गोविंद सिंह जी के जीवन से प्रेरणा लेकर उत्कृष्ट कलाकृतियाँ बनाने के लिए प्रोत्साहित किया. उनके मार्गदर्शन में छात्रों ने विभिन्न शैली की कलाकृतियाँ प्रस्तुत कीं, जिनमें पारंपरिक, आधुनिक और मिश्रित तकनीकों का प्रयोग किया गया.
कार्यक्रम की आधिकारिक जानकारी जनसंपर्क अधिकारी डॉ. कमल सिंह राठौड़ द्वारा दी गई. उन्होंने बताया कि भविष्य में भी इस तरह के आयोजन होते रहेंगे, ताकि छात्रों को अपनी रचनात्मकता को प्रदर्शित करने के अधिक अवसर मिल सकें.