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नई दिल्ली. शुक्रवार को भारतीय बाजार लाल निशान में बंद हुए, जो लगातार तीसरे हफ्ते की गिरावट थी. वित्तीय और ऑटोमोबाइल सेक्टर के शेयरों में भारी बिकवाली इसका बड़ा कारण रही. अमेरिकी टैरिफ को लेकर बढ़ती चिंताओं ने भी निवेशकों का हौसला कमजोर किया. जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर का कहना है, घरेलू बाजार में कमजोरी बनी हुई है. FOMC मिनट्स के सख्त रुख ने निवेशकों को चिंता में डाल दिया, जो लंबे समय तक ऊंची ब्याज दरों का संकेत देता है. इससे उभरते बाजारों (Emerging Markets) में नकदी का प्रवाह प्रभावित हो सकता है. बाजार में स्वस्थ सुधार हुआ है, लेकिन कॉर्पोरेट आय की धीमी रिकवरी और टैरिफ से जुड़ी अनिश्चितता वैल्यूएशन को लेकर सवाल उठा रही है, भारत अपने एशियाई साथियों से पीछे चल रहा है, क्योंकि FII की बिकवाली तेज है. आइए जानते हैं उन 10 अहम बातों को जो बाजार की चाल तय कर सकती हैं. 1. अमेरिकी बाजार की गिरावटशुक्रवार को अमेरिकी शेयरों में तेज बिकवाली देखी गई. कमजोर आर्थिक डेटा, टैरिफ की आशंका और उपभोक्ता मांग घटने की चिंता से Dow Jones 748.63 अंक (1.69%) गिरकर 43,428.02 पर, S&P 500 104.39 अंक (1.71%) गिरकर 6,013.13 पर और Nasdaq 438.36 अंक (2.20%) गिरकर 19,524.01 पर बंद हुआ. यह भारतीय बाजार पर दबाव डाल सकता है. 2. यूरोपीय बाजार की मजबूतीयूरोप के शेयर रिकॉर्ड ऊंचाई के करीब बंद हुए. STOXX 600 इंडेक्स 0.5% चढ़ा, जो लगभग एक साल में सबसे लंबी साप्ताहिक तेजी का संकेत है. हालांकि, जर्मनी का DAX हल्का गिरा, क्योंकि वहां जल्द होने वाले चुनावों से निवेशक सतर्क हैं. 3. तकनीकी नजरिये से समझेंएलकेपी सिक्योरिटीज के विश्लेषक रूपक डे ने कहा, "निफ्टी में गिरावट आई, जो प्रति घंटा चार्ट पर मंदी का संकेत देती है. RSI (14) में मंदी का क्रॉसओवर हुआ है. अल्पकाल में निफ्टी 22,500 तक गिर सकता है, जबकि 22,850 पर मजबूत प्रतिरोध है." 4. FII की बिकवालीविदेशी निवेशकों का भारत से पैसा निकालना जारी है. "भारत बेचो, चीन खरीदो" रणनीति के चलते एशियाई बाजारों में भारत पिछड़ रहा है. यह सोमवार को भी मूड खराब कर सकता है. 5. टैरिफ की चिंताअमेरिका के नए टैरिफ की आशंका से वैश्विक और भारतीय बाजारों पर दबाव है. इससे निर्यात पर असर और निवेशकों की अनिश्चितता बढ़ रही है. 6. उच्च ब्याज दरों का डरFOMC मिनट्स ने संकेत दिया कि अमेरिका में ब्याज दरें लंबे समय तक ऊंची रह सकती हैं. इससे उभरते बाजारों में नकदी का प्रवाह कम हो सकता है, जो भारत के लिए नुकसानदेह है. 7. सबसे सक्रिय शेयर (टर्नओवर)गोदरेज इंडस्ट्रीज (2,575.05 करोड़ रुपये), महिंद्रा एंड महिंद्रा (2,408.63 करोड़ रुपये) और एचडीएफसी बैंक (1,322.08 करोड़ रुपये) जैसे शेयरों में भारी ट्रेडिंग हुई. ये सोमवार को बाजार की चाल पर असर डाल सकते हैं. 8. वॉल्यूम के हिसाब से शेयरवोडाफोन आइडिया (28.96 करोड़ शेयर), सुजलॉन एनर्जी (5.67 करोड़ शेयर) और यस बैंक (5.63 करोड़ शेयर) जैसे शेयरों में भारी मात्रा में कारोबार हुआ. इन पर नजर रखें. 9. खरीदारी और बिकवालीगोदरेज इंडस्ट्रीज, जेएसडब्ल्यू एनर्जी जैसे शेयरों में खरीदारी का जोश दिखा, जबकि महिंद्रा एंड महिंद्रा, साइएंट और पीरामल फार्मा में बिकवाली का दबाव रहा. यह सेक्टर-आधारित रुझान दिखाता है. 10. बाजार का माहौलबीएसई पर 4,060 शेयरों में से 2,246 में गिरावट और 1,701 में बढ़त देखी गई. मंदी का मूड सोमवार को भी हावी रह सकता है, जब तक कोई सकारात्मक ट्रिगर न आए.भारतीय बाजार कमजोर वैश्विक संकेतों, FII की बिकवाली और टैरिफ की अनिश्चितता से दबाव में है. सोमवार को निवेशकों की नजर अमेरिकी बाजार की चाल, तकनीकी स्तरों और बड़े शेयरों के प्रदर्शन पर होगी. सतर्कता बरतना जरूरी है.
अस्वीकरण : इस लेख में निवेश विशेषज्ञों और ब्रोकिंग कंपनियों की तरफ से जानकारी दी गई है, वे इकनॉमिक टाइम्स हिंदी का प्रतिनिधित्व नहीं करते. निवेश से जुड़ा कोई भी फैसला लेने से पहले आप सर्टीफाइड एक्सपर्ट से अवश्य सलाह लें.