नई दिल्ली, 24 अप्रैल। 'इमली' के चर्चित अभिनेता फहमान खान ने हाल ही में एक इंटरव्यू में टीवी शो में पुरुष किरदारों के चित्रण पर अपने विचार साझा किए। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि पुरुषों को केवल शारीरिक रूप से ही नहीं, बल्कि मानसिक रूप से भी मजबूत नायकों के रूप में प्रस्तुत किया जाना चाहिए।
जब उनसे पूछा गया कि वे पुरुष किरदारों को किस प्रकार देखना चाहेंगे, तो उन्होंने कहा, "टीवी शो में पुरुष पात्रों को और अधिक रोमांचक और प्रभावशाली तरीके से पेश किया जाना चाहिए, ताकि दर्शकों को यह पसंद आए।"
फहमान ने बताया कि कहानी में विभिन्न प्रकार के किरदारों का समावेश होना चाहिए, जो पर्दे पर शक्तिशाली दिखें। इससे न केवल किरदारों में दिलचस्पी बढ़ेगी, बल्कि कहानी भी अधिक वास्तविक लगेगी।
उन्होंने दो प्रकार के पुरुष किरदारों का उल्लेख किया। पहला, 'बड़ा और शक्तिशाली' किरदार, जैसे कि बाहुबली का नायक, जो साहस और मानसिक शक्ति का प्रतीक है। दूसरा, आम इंसान की तरह, जिसमें उनकी खूबियां, कमियां, और भावनाएं शामिल हों। दोनों प्रकार के किरदार प्रभावशाली हो सकते हैं।
फहमान का मानना है कि कहानी कहने का तरीका और किरदारों का चित्रण लेखक और निर्माताओं की सोच को दर्शाता है, इसलिए टीवी शो में नए और विविध तरीकों से किरदारों को पेश करने की आवश्यकता है।
फहमान खान के करियर की बात करें तो उन्होंने 'क्या कसूर है अमला का' में सहायक भूमिका निभाई थी। इसके बाद, 'अपना टाइम भी आएगा' और 'मेरे डैड की दुल्हन' जैसे शो में भी काम किया। इसके अलावा, वह 'ये वादा रहा', 'कुंडली भाग्य', 'इश्क में मरजावां', 'इमली', 'प्यार के सात वचन धरमपत्नी', 'कृष्णा मोहिनी' और 'इश्क का रब्ब रखा' जैसे कई शो का हिस्सा रहे हैं।
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पीके/केआर