जिले की जीवनरेखा कही जाने वाली राजसमंद झील इस बार अच्छे मानसून के कारण लबालब होने के करीब है। झील का गेज 23 फीट पर पहुंच चुका है और विशेषज्ञों का मानना है कि अगर बारिश का दौर इसी तरह जारी रहा तो इस बार झील ओवरफ्लो हो सकती है।
झील में पानी की आवक लगातार बनी हुई है। मुख्य रूप से खारी फीडर और गोमती नदी से पानी झील में आ रहा है। इन दोनों स्रोतों से पर्याप्त मात्रा में पानी मिलने के कारण जलस्तर में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है।
स्थानीय निवासियों के लिए यह खुशखबरी है क्योंकि लंबे समय बाद झील के लबालब होने की संभावना बन रही है। झील का भराव स्तर ऐतिहासिक रूप से न केवल किसानों की सिंचाई जरूरतों को पूरा करता है बल्कि पीने के पानी की समस्या को भी दूर करता है।
ग्रामीणों और शहरवासियों का कहना है कि झील के भरने से आसपास के इलाके में भूजल स्तर भी सुधरेगा। साथ ही, झील ओवरफ्लो होने पर दृश्य बेहद मनमोहक होता है और बड़ी संख्या में लोग इसे देखने के लिए उमड़ते हैं।
झील से जुड़े विशेषज्ञों का कहना है कि राजसमंद झील का ओवरफ्लो होना केवल प्राकृतिक सौंदर्य का ही प्रतीक नहीं बल्कि यह क्षेत्र की समृद्धि और जल संसाधनों की उपलब्धता का भी संकेत है। जल संसाधन विभाग ने बताया कि फिलहाल झील पूरी तरह सुरक्षित है और गेज पर लगातार निगरानी रखी जा रही है। अधिकारियों ने उम्मीद जताई है कि अगर मौसम का मिजाज इसी तरह बना रहा तो आने वाले दिनों में झील पूरी तरह से भर जाएगी।