इंदौर, 09 सितम्बर (Udaipur Kiran) । पर्यावरण संरक्षण और सतत विकास की दिशा में उल्लेखनीय कार्य करते हुए मध्य प्रदेश के इंदौर शहर ने आज इतिहास रच दिया है। इंदौर देश का पहला शहर बन गया है, जिसे रामसर कन्वेंशन (Ramsar Convention) द्वारा वेटलैंड एक्रेडिटेड सिटीज़ (Wetland Accredited Cities) की सूची में स्थान दिया गया है। यह मान्यता जनवरी 2025 में प्रदान की गई है जिसकी वैधता 6 वर्ष तक होगी और इसका नवीनीकरण संभव है।
मंगलवार को नई दिल्ली स्थित पर्यावरण भवन में आयोजित विशेष कार्यक्रम में इंदौर नगर निगम को यह सम्मान प्रदान किया गया। यह सम्मान ग्रहण करने के लिए महापौर पुष्यमित्र भार्गव, निगम के अपर आयुक्त रोहित सिसोनिया, महापौर परिसर के सदस्य अश्विनी शुक्ला, अभिषेक बबलू शर्मा दिल्ली में उपस्थित रहे।
मान्यता के मुख्य कारण
सिरपुर झील (Sirpur Lake): लगभग 100 वर्ष पुरानी कृत्रिम झील, जिसे 2022 में रामसर साइट घोषित किया गया। यह झील 180 से अधिक पक्षी प्रजातियों का निवास स्थान है और साइबेरिया, यूरोप व एशिया से आने वाले प्रवासी पक्षियों का महत्वपूर्ण ठिकाना है।
संरक्षण प्रयास: इंदौर नगर निगम और स्थानीय स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा झील का पुनर्जीवन।
सामुदायिक सहभागिता: 200 से अधिक “वेटलैंड मित्र” स्वयंसेवक संरक्षण और जन-जागरूकता के लिए सक्रिय।
जन-जागरूकता एवं इको-टूरिज़्म: सफाई अभियान, बर्ड वॉचिंग कार्यक्रम एवं पर्यावरण शिक्षा को बढ़ावा।
इंदौर को मिलने वाले लाभ
– अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान और प्रतिष्ठा।
– इको-टूरिज़्म एवं स्थानीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा।
– शहरी पर्यावरण और जलवायु में सुधार।
– अन्य भारतीय शहरों के लिए प्रेरणास्रोत।
यह उपलब्धि इंदौर को न केवल राष्ट्रीय स्तर पर बल्कि वैश्विक मंच पर भी पर्यावरण-अनुकूल और सतत विकासशील शहर के रूप में पहचान दिलाती है। सिरपुर झील इस उपलब्धि का केंद्र है और यह सिद्ध करती है कि सामुदायिक भागीदारी + सुशासन = वैश्विक सम्मान।
(Udaipur Kiran) तोमर