साउथ इंडिया का इडली और सांभर टेस्टी और हेल्दी फूड कॉम्बिनेशन है, क्योंकि जहां इडली एक स्टीम फूड है तो वहीं सांभर में मोरिंगा की फलियों से लेकर कई तरह की सब्जियां मिलाई जाती हैं और तेल का बेहद कम यूज होता है. इडली के बेटर को फॉर्मेट भी किया जाता है, इसलिए ये एक प्रोबायोटिक फूड बन जाती है. इस वजह से इडली न्यूट्रिएंट्स रिच होने के साथ ही आपकी गट हेल्थ के लिए भी बेहद अच्छी होती है. ट्रेडिशनली इडली को चावलों को भिगोकर या फिर इसके आटे से बेटर तैयार करके बनाया जाता है, लेकिन इसे लोग सूजी और कई अलग-अलग तरह के अनाजों के आटा से भी बनाते हैं. फिलहाल ज्यादातर लोग चावलों के अलावा मोस्टली सूजी की इडली खाते हैं. ऐसे में जानेंगे कि स्नैक्स या फिर नाश्ते में सूजी की इडली खाना बेस्ट है या फिर चावल की इडली सही रहेगी.
इडली का सेवन डेली रूटीन में इसलिए भी लोग बिना गिल्ट के कर लेते हैं,क्योंकि इसमें तेल का यूज बिल्कुल न के बराबर किया जाता है. साउथ इंडिया की ये ट्रेडिशनल डिश अब पूरे देश में खूब पसंद की जाने लगी है और अब इसे लोग ट्विस्ट के साथ भी बनाने लगे हैं. पारंपरिक रूप से चावलों को भिगोकर पीसा जाता है और फिर इडली के बेटर को फॉर्मेट करके इडली बनाते हैं. वहीं सूजी से इडली बनाना ज्यादा आसान है, क्योंकि इसे पीसने का झंझट नहीं रहता है. फिलहाल जान लेते हैं चावल या सूजी…किससे बनी इडली है ज्यादा फायदेमंद.
एक्सपर्ट से जानेंधर्मशीला नारायणा अस्पताल, दिल्ली की सीनियर डाइटिशियन पायल कहती हैं कि सूजी या चावल दोनों की चीजों की इडली आपकी सेहत के लिए फायदा करती है, क्योंकि इसमें तेल नहीं होता है और पचाने के लिए ये एक हल्का फूड है, लेकिन उनका कहना है कि सूजी की इडली चावल के मुकाबले थोड़ी ज्यादा फायदेमंद रहती है. दरअसल सूजी में फाइबर ज्यादा पाया जाता है जो आपके पाचन के लिए सही है. इसके अलावा सूजी में कार्ब्स और कैलोरी कम होती है साथ ही इसकी इडली पेट को लंबे समय तक भरा हुआ महसूस करवाती है, जिससे वेट लॉस में हेल्प मिलती है.एक्सपर्ट कहती हैं कि बात करें चावल की इडली की तो इसमें कार्बोहाइड्रेट ज्यादा होते हैं, जिससे आपको इसकी बनी इडली खाने के बाद इंस्टेंट एनर्जी मिल सकती है, लेकिन फाइबर कम होने की वजह से फाइबर कम होता है और सिंपल कार्ब्स ब्लड शुगर बढ़ाने का काम कर सकते हैं. इसी वजह से ये कम फायदेमंद मानी जाती है.
सूजी (रवा) के न्यूट्रिएंट्सज्यादातर लोगों को पता नहीं होता है कि सूजी किस चीज से बनती है. दरअसल ये भी गेहूं से ही बनाई जाती है, लेकिन इसके लिए ड्यूरम गेहूं (Durum Wheat) का यूज किया जाता है. इन गेहूं को पीसने के लिए अलग मशीनों का यूज किया जाता है जो गेहूं की सीधी पीसने की बजाय महीन टुकड़ों में तोड़ती है. इसके पोषक तत्वों की बात करें तो वेब एमडी के मुताबिक, सूजी में प्रोटीन, डायटरी फाइबर,आयरन, फोलेट समेत कई और पोषक तत्व भी पाए जाते हैं.

हेल्थ लाइन में दिए डेटा के मुताबिक, चावलों में प्रोटीन, मैगनीज, सेलेनियम, नियासिन, आयरन कॉपर, मैग्नीशियम समेत कई पोषक तत्व पाए जाते हैं, लेकिन अलग-अलग टाइप के चावलों में न्यूट्रिएंट्स की मात्रा कम या ज्यादा हो सकती है. चावल की क्वालिटी कैसी है, इसपर भी न्यूट्रिएंट्स की मात्रा निर्भर करती है.
चावल की इडली बनाएं हेल्दीअगर आपको सूजी के मुकाबले चावल की इडली ज्यादा पसंद है तो आप इसे हेल्दी भी बना सकते हैं. जैसे गाजर, मटर, बीन्स को इसमें बारीक करके एड करें. ये सब्जियां स्वाद के साथ ही पोषक तत्व भी बढ़ाएंगी. एक्सपर्ट पायल कहती हैं कि भले ही सूजी की इडली चावल के मुकाबले ज्यादा फायदेमंद हो, लेकिन रोजाना अगर आप सिर्फ इसी की बनी इडली खाएंगे तो इससे पोषक तत्वों का इंबैलेंस हो सकता है, इसलिए मॉडरेशन में अलग-अलग चीजों को डाइट का हिस्सा बनाना चाहिए.