हिमाचल- उत्तराखंड के हिल स्टेशनों के फेल कर देते हैं ये 3 हिल स्टेशन, विदेशी टूरिस्ट भी मंत्रमुग्ध हो जाते हैं
GH News December 19, 2024 05:11 PM

हिमाचल और उत्तराखंड के अलावा भी भारत में ऐसे कई हिल स्टेशन हैं जो टूरिस्टों को अपनी ओर अट्रैक्ट करते हैं. ये हिल स्टेशन उत्तराखंड और हिमाचल के हिल स्टेशनों की तरह सुंदर हैं. आइए इनके बारे में जानते हैं.

हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के हिल स्टेशनों की सैर कर ली है तो इस बार आप शिलांग, तवांग और कूर्ग हिल स्टेशन की सै कर सकते हैं. अक्सर दिल्ली-एनसीआर से नजदीक होने के कारण टूरिस्ट उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश के हिल स्टेशनों को एक्सप्लोर कर लेते हैं, लेकिन अन्य राज्यों के हिल स्टेशनों की सैर नहीं कर पाते हैं. उत्तराखंड और हिमाचल के अलावा भी अन्य राज्यों में खूबसूरत हिल स्टेशन हैं, जिनकी पुरी दुनिया मूरीद है. ये हिल स्टेशन ऐसे हैं कि आप भी कहेंगे इनकी खूबसूरती ने उत्तराखंड और हिमाचल के हिल स्टेशनों को फेल कर दिया है.

अरुणाचल प्रदेश का तवांग हिल स्टेशन

अरुणाचल प्रदेश के तवांग की खूबसूरती हर किसी टूरिस्ट के जेहन में बस जाती है. यह हिल स्टेशन टूरिस्टों को अपने और आकर्षित करता है. यहां के सुंदर और मनभावक नजारे हर किसी को दिवाना बना लेते हैं. टूरिस्ट यहां नूरानांग झरना, पांगकांग तेंग त्सो झील, सेला दर्रा, तख्तसंग गोम्पा, तवांग मठ और तवांग युद्ध स्मारक देख सकते हैं. तवांग दलाई लामा की जन्म स्थली है. यहां का सेला दर्रा बेहद सुंदर है. तवांग का अर्थ देखें तो ‘ता’ का अर्थ होता है ‘घोड़ा’ और ‘वांग’ का अर्थ होता है ‘चुना हुआ.’ ऐसी मान्यता है कि इस स्थान का चुनाव मेराग लामा लोड्रे ग्यामत्सो के घोड़े ने किया था. मेराग लामा लोड्रे ग्यामत्सो एक मठ बनाने के लिए किसी उपयुक्त स्थान की तलाश कर रहे थे. उन्हें ऐसी कोई जगह नहीं मिली, जिससे उन्होंने दिव्य शक्ति से मार्गदर्शन प्राप्त करने के लिए प्रार्थना करने का निर्णय लिया. प्रार्थना के बाद जब उन्होंने आंखे खोली तो पाया कि उनका घोड़ा वहां पर नहीं है. वह अपना घोड़ा खोजने निकले और उन्हें वह घोड़ा पहाड़ की चोटी पर मिला. जहां बाद में मठ का निर्माण किया गया.

कर्नाटक का कूर्ग हिल स्टेशन

कर्नाटक का कूर्ग हिल स्टेशन बेहद सुंदर है. इस हिल स्टेशन की सुंदरता के सामने हिमाचल और उत्तराखंड के हिल स्टेशन फेल है.अगर आप शांति,सुकूं और प्रकृति की गोद में खुद को पाना चाहते हैं तो कूर्ग की सैर करिये. यहां सुबह की ओस से ढके जंगल, धुंध से घिरी घाटियां, दूर तक फैले कॉफी के बागान और कावेरी नदी का तट आपको भीतर से तरोताजगी से भर देगा. कूर्ग में आप ओंकारेश्वर मंदिर घूम सकते हैं.  भगवान शिव को समर्पित यह मंदिर 1820 में निर्मित क्षेत्र में सबसे पुराना मंदिर है. कूर्ग सिर्फ हरियाली, घने जंगल, झरने और पहाड़ों के लिए ही मशहूर नहीं है बल्कि यहां के चाय के बागान भी प्रसिद्ध हैं.

मेघालय का शिलांग हिल स्टेशन

मेघालय का शिलांग हिल स्टेशन बेहद सुंदर है. शिलांग मेघालय की राजधानी है. यह हिल स्टेशन समुद्र तल से 1,491 मीटर की ऊंचाई पर है. यह हिल स्टेशन उत्तराखंड और हिमाचल की तरह ही प्रकृति की गोद में बसा है. शिलांग के पहाड़ और हरियाली आपका दिल जीत लेगी. यह हिल स्टेशन टूरिस्टों को अपनी तरफ अट्रैक्ट करता है.

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