क्रिकेट न्यूज़ डेस्क ।। भारतीय तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी एक बार फिर सुर्खियों में हैं, जहां उन्होंने अपने प्रदर्शन से सबका ध्यान अपनी ओर खींचा है। हालांकि, इस बार तेज गेंदबाज ने गेंद से नहीं बल्कि बल्ले से चमक बिखेरी है, जहां उन्होंने विजय हजारे ट्रॉफी (वीएचटी) में अपनी टीम को मुश्किल से निकाला। अपनी घातक गेंदबाजी के लिए मशहूर शमी ने मध्य प्रदेश के खिलाफ मैच में बंगाल के लिए बल्ले से भी अहम भूमिका निभाई और 34 गेंदों पर पांच चौकों और एक छक्के की मदद से 42 रनों की तेज पारी खेली।
उनकी पारी ऐसे समय में आई जब बंगाल 205 रन पर सात विकेट खोकर संघर्ष कर रहा था। शमी ने ऑलराउंडर कौशिक मैती के साथ मिलकर आठवें विकेट के लिए 64 रनों की महत्वपूर्ण साझेदारी की, जिससे बंगाल 269 रनों का सम्मानजनक स्कोर बनाने में सफल रहा। गेंदबाज के रूप में अपनी भूमिका बखूबी निभाने के बाद शमी के बल्ले से प्रदर्शन ने सभी का ध्यान खींचा है। कई लोग लॉर्ड्स में उनके द्वारा खेल का रुख बदलने वाले अर्धशतक को भी याद करते हैं।
शमी ने चैंपियंस ट्रॉफी के लिए अपनी दावेदारी पेश की है।
शमी के प्रदर्शन से उन्हें भारत और इंग्लैंड के बीच होने वाली टी-20 और वनडे सीरीज में जगह मिल सकती है। इस प्रदर्शन के साथ उन्होंने आगामी आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी के लिए भी अपना दावा पेश कर दिया है। टूर्नामेंट अब ज्यादा दूर नहीं है और चयनकर्ता उनकी फिटनेस और फॉर्म पर कड़ी नजर रख रहे हैं। शमी ने भारत के लिए आखिरी बार 19 नवंबर 2023 को ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वनडे विश्व कप फाइनल में खेला था।
चयनकर्ताओं की नजरें शमी के प्रदर्शन पर
नवंबर 2023 में आखिरी बार भारतीय जर्सी पहनने वाले शमी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर वापसी के लिए उत्सुक हैं। हाल ही में संपन्न बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में उनकी कमी महसूस की गई, जहां टीम को 1-3 से हार का सामना करना पड़ा। लेकिन अब सबकी निगाहें उनके विजय हजारे ट्रॉफी प्रदर्शन पर टिकी हैं। बीसीसीआई के एक अधिकारी ने संकेत दिया था कि अगर शमी टूर्नामेंट में अपना फॉर्म जारी रखते हैं तो उन्हें 6 फरवरी से इंग्लैंड के खिलाफ शुरू होने वाली वनडे सीरीज के लिए चुना जा सकता है।