जबलपुर, 9 जनवरी . पश्चिम मध्य रेल के कोटा मंडल में नई डिजाइन वाली वंदे भारत स्लीपर रैक का स्पीड ट्रायल जारी है. आधिकारिक तौर पर दी गई जानकारी में बताया गया है कि वंदे भारत स्लीपर ट्रेन ने अपने कई परीक्षणों में 180 किलोमीटर प्रति घंटे की अधिकतम गति प्राप्त की है. यह परीक्षण जनवरी के अंत तक जारी रहेगा. उसके बाद देश भर के रेल यात्रियों को लंबी दूरी की यात्रा के लिए यह विश्वस्तरीय यात्रा उपलब्ध कराई जाएगी.
मुख्य जनसंपर्क अधिकारी हर्षित श्रीवास्तव ने बताया है कि आरडीएसओ (अनुसंधान, अभिकल्प और मानक संगठन) लखनऊ टीम परिचालन विभाग के नेतृत्व में पश्चिम मध्य रेल की टीम द्वारा कोटा मंडल में नई डिजाइन वाली वंदे भारत एक्सप्रेस के स्लीपर रैक का गति परीक्षण किया जा रहा है.
मंडल में आरडीएसओ टीम परिचालन विभाग के सहयोग से 31 दिसंबर से वंदे भारत स्लीपर रैक का ट्रायल कर रही है. इस वंदे भारत स्लीपर रैक का भारतीय रेल में पहला हाई स्पीड ट्रायल कोटा मंडल में किया जा रहा है. इस स्लीपर रैक के सफल ट्रायल के पश्चात विभिन्न रेलमार्गों पर लंबी दूरी के रेल यात्रियों को तेज, सुरक्षित और विश्वस्तरीय यात्रा का अनुभव प्राप्त होगा.
बताया गया है कि यह ट्रायल वंदे भारत स्लीपर रैक के विभिन्न तकनीकी मानकों के विश्लेषण के लिए किया जा रहा है, जिसमें कपलर फोर्स, एयर सस्पेंशन, ब्रेकिंग सिस्टम, घुमाव ट्रैक पर गति इत्यादि का परीक्षण शामिल है. वंदे भारत स्लीपर रैक का छह जनवरी को नागदा-कोटा-सवाई माधोपुर रेल खंड पर सूखे एवं गीले ट्रैक की अवस्था में कई बार 160 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से गति परीक्षण किया गया.
इसमें विशेष रूप से आपातकालीन ब्रेकिंग, दूरी एवं कपलर फोर्स से संबंधित आंकड़ों को विश्लेषण के लिए संरक्षित किया गया. इस वंदे भारत स्लीपर कोच की रैक में कुल 16 कोच हैं. इसका ट्रायल पूरे जनवरी माह तक आरडीएसओ टीम करेगी. यह ट्रायल आरडीएसओ के संयुक्त निदेशक (परीक्षण) के निर्देशन में किया गया, जिसमें कोटा मंडल के यातायात निरीक्षक एवं लोको निरीक्षक ने आरडीएसओ लखनऊ टीम के साथ समन्वय किया.
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एसएनपी/एबीएम