भारत-यूके रणनीतिक साझेदारी को मजबूती देने के लिए दिल्ली में उच्चस्तरीय वार्ता | cliQ Latest
Cliq India June 04, 2025 04:42 PM

भारत और यूनाइटेड किंगडम के बीच रणनीतिक साझेदारी को नई दिशा देने के लिए मंगलवार को दिल्ली में दोनों देशों के शीर्ष अधिकारियों के बीच अहम बैठक हुई। यूके के फॉरेन, कॉमनवेल्थ एंड डेवलपमेंट ऑफिस (FCDO) के परमानेंट अंडर-सेक्रेटरी सर ओलिवर रॉबिंस भारत पहुंचे और विदेश सचिव विक्रम मिस्री के साथ सालाना ‘फॉरेन ऑफिस कंसल्टेशन’ में भाग लिया।

व्यापार, रक्षा और तकनीक पर हुआ व्यापक मंथन

इस बैठक के दौरान दोनों देशों ने हाल के वर्षों में साझेदारी में हुई प्रगति की समीक्षा की और भविष्य की रणनीति पर चर्चा की। विशेष रूप से भारत-यूके के बीच ऐतिहासिक व्यापार समझौते को एक बड़ी उपलब्धि के रूप में देखा गया, जिससे आर्थिक सहयोग को नया आयाम मिलने की उम्मीद है।

सर ओलिवर और मिस्री ने दोनों प्रधानमंत्रियों की साझा रणनीतिक दृष्टि को व्यवहार में बदलने के उपायों पर भी चर्चा की। उन्होंने आर्थिक विकास को साझेदारी का मुख्य आधार मानते हुए व्यापार और निवेश संबंधों को और मजबूत करने की दिशा में काम करने पर सहमति जताई।

एक अहम पहलू के रूप में ‘स्ट्रैटेजिक एक्सपोर्ट्स एंड टेक्नोलॉजी कोऑपरेशन डायलॉग’ की शुरुआत की गई। इस संवाद के जरिए रक्षा और तकनीक जैसे अहम क्षेत्रों में आपसी समझ को मजबूत करने और भविष्य के सहयोग के लिए संभावित क्षेत्रों की पहचान की गई।

आतंकवाद, वैश्विक मुद्दों और साझा हितों पर चर्चा

बैठक के बाद विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह वार्ता दोनों देशों को आपसी रिश्तों के सभी पहलुओं की समीक्षा करने और नई दिशा देने का अवसर बनी। इसमें व्यापार, निवेश, वित्त, रक्षा, आतंकवाद विरोध, विज्ञान, नवाचार, हरित ऊर्जा, स्वास्थ्य, शिक्षा और दोनों देशों के नागरिकों के बीच संपर्क जैसे क्षेत्रों पर चर्चा हुई।

भारत ने आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में यूके सरकार के समर्थन और एकजुटता के लिए आभार जताया। सर ओलिवर ने भी भारत के साथ संबंधों को यूके की वैश्विक प्राथमिकताओं में से एक बताया और कहा कि दोनों देश इस साझेदारी को नई ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

अपनी यात्रा के दौरान सर ओलिवर भारत सरकार के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों से भी मुलाकात करेंगे, जिनमें जी-20 और गृह मामलों से जुड़े प्रतिनिधि शामिल हैं। इन बैठकों के जरिए वैश्विक और क्षेत्रीय मुद्दों पर सहयोग को और गहरा करने का प्रयास होगा।

भारत और यूके के बीच मजबूत होती यह रणनीतिक साझेदारी लोकतंत्र, सुरक्षा और समृद्धि के साझा मूल्यों पर आधारित है, जो भविष्य में द्विपक्षीय संबंधों की दिशा तय करने में अहम भूमिका निभाएगी।

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