ढाई घंटे में दिल्ली से पहुंच जाएंगे देहरादून, एशिया का सबसे लंबा वाइल्डलाइफ कॉरिडोर तैयार Delhi Dehradun Expressway – अभी पढ़ें ये खबर
Rahul Mishra (CEO) June 16, 2025 06:26 PM

दिल्ली देहरादुन एक्सप्रेसवे: देश में बन रहे Delhi-Dehradun Expressway को लेकर काम स्पीड से अंतिम चरण में पहुंच चुका है. नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) के अनुसार, इस महत्वाकांक्षी परियोजना का लगभग 90 प्रतिशत कार्य पूरा कर लिया गया है. बाकी का कार्य जून 2025 तक समाप्त होने की संभावना है, जिससे जल्द ही यह एक्सप्रेसवे यात्रियों के लिए खोल दिया जाएगा.

राजाजी नेशनल पार्क के बीच से मिलेगा जंगल सफारी का अनुभव

इस एक्सप्रेसवे की सबसे खास बात यह है कि इसका अधिकांश हिस्सा राजाजी नेशनल पार्क की सीमाओं से होकर गुजरेगा. यह एक वाइल्डलाइफ कॉरिडोर के रूप में भी काम करेगा, जहां से गुजरते हुए यात्री जंगल सफारी जैसा रोमांचक दृश्य देख सकेंगे. इस क्षेत्र में वन्य जीवों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है.

12 किलोमीटर लंबा एलिवेटेड फ्लाईओवर बनेगा आकर्षण का केंद्र

वन्यजीवों की आवाजाही को सुरक्षित बनाए रखने के लिए राजाजी पार्क क्षेत्र में 12 किलोमीटर लंबा एलिवेटेड फ्लाईओवर बनाया जा रहा है. यह फ्लाईओवर बरसाती नदी के ऊपर बनेगा और इसे एशिया का सबसे लंबा वाइल्डलाइफ कॉरिडोर बताया जा रहा है. इस निर्माण से मानव और वन्यजीव दोनों को संतुलित सह-अस्तित्व का लाभ मिलेगा.

6-लेन हाईवे जोड़ेगा दो राजधानियों को

यह दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे एक 6-लेन हाई-स्पीड कॉरिडोर है, जो दिल्ली की अक्षरधाम रोड से शुरू होकर उत्तराखंड की राजधानी देहरादून तक जाएगा. इसका रूट शास्त्री पार्क, खजूरी खास, मंडोला, बागपत, खेकड़ा, शामली, सहारनपुर होते हुए देहरादून पहुंचेगा. यह एक्सप्रेसवे उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के कई शहरों से होकर गुजरेगा.

सिर्फ 2.5 घंटे में तय होगा दिल्ली से देहरादून का सफर

मौजूदा समय में दिल्ली से देहरादून की यात्रा में लगभग 6.5 घंटे का समय लगता है. लेकिन इस नई एक्सप्रेसवे के शुरू होने के बाद, यह यात्रा महज 2.5 घंटे में पूरी हो सकेगी. यह न केवल समय की बचत करेगा बल्कि यात्रियों को आरामदायक और सुगम यात्रा का अनुभव भी देगा.

12,000 करोड़ की लागत से बन रहा है हाईवे

इस हाईवे परियोजना की कुल लागत 12,000 करोड़ रुपये है. NHAI के अनुसार, अब तक 70% से अधिक निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है और शेष कार्य को मई 2025 तक समाप्त करने का लक्ष्य है. परियोजना में उन्नत तकनीकों, पर्यावरण सुरक्षा उपायों और यात्री सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा गया है.

आर्थिक और पर्यटन विकास को मिलेगा बढ़ावा

यह एक्सप्रेसवे न केवल यात्रियों के लिए सुविधाजनक यात्रा का मार्ग बनाएगा बल्कि इसके जरिए पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा. राजाजी नेशनल पार्क, सहारनपुर, शामली जैसे क्षेत्रों में पर्यटकों की आवाजाही बढ़ेगी, जिससे स्थानीय लोगों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे.

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