ओला इलेक्ट्रिक के CEO समेत 3 के खिलाफ केस दर्ज, कर्मचारी ने जहर खाकर दी थी जान, कंपनी का आया बयान
TV9 Bharatvarsh October 21, 2025 06:42 AM

कर्नाटक पुलिस ने ओला इलेक्ट्रिक के कर्मचारी अरविंद की मौत के मामले में मुकदमा दर्ज किया है. पुलिस ने 6 अक्टूबर को अरविंद की मौत के सिलसिले में ओला इलेक्ट्रिक के CEO भाविश अग्रवाल, वरिष्ठ अधिकारी सुब्रत कुमार दास और कंपनी को नामजद किया है. वहीं अब ओला इलेक्ट्रिक ने इस मामले में अपना बयान जारी किया है. कंपनी ने जांच में सहयोग करने और अपने कर्मचारियों की सुरक्षा और सम्मान के लिए प्रतिबद्ध रहने का दावा किया है.

सोमवार को जारी एक बयान में, कंपनी के प्रवक्ता ने कहा, हमें अपने सहयोगी अरविंद के दुर्भाग्यपूर्ण निधन पर गहरा दुख है. इस कठिन समय में हमारी संवेदनाएं उनके परिवार के साथ हैं. अरविंद साढ़े तीन साल तक ओला इलेक्ट्रिक में रहे और हमारे बेंगलुरु स्थित मुख्यालय में कार्यरत थे. अपने कार्यकाल के दौरान, अरविंद ने अपनी नौकरी या किसी भी उत्पीड़न के बारे में कभी कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई.

कंपनी ने एफआईआर को हाईकोर्ट में दी चुनौती

अरविंद की मृत्यु के बाद उठे विवाद के बारे में, ओला इलेक्ट्रिक ने कहा कि अरविंद की भूमिका कंपनी के शीर्ष प्रबंधन, जिसमें प्रमोटर भी शामिल हैं, उनके साथ किसी भी सीधे संपर्क में नहीं थी. कंपनी ने कहा, ‘हमने कर्नाटक उच्च न्यायालय की एक पीठ के समक्ष एफआईआर दर्ज करने को चुनौती दी है.’ कंपनी ने अपने बयान में साफ कहा है कि वह सभी कर्मचारियों के हितों की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध है.

आरोपों पर दी सफाई, जांच में कर रहे सहयोग

कंपनी ने कहा कि उच्च न्यायालय ने ओला इलेक्ट्रिक और उसके अधिकारियों के पक्ष में सुरक्षात्मक आदेश पारित किए हैं. अरविंद के परिवार द्वारा लगाए गए आरोपों पर कंपनी ने सफाई दी है. ओला इलेक्ट्रिक के प्रवक्ता ने कहा, ‘अरविंद के परिवार को तत्काल सहायता प्रदान करने के लिए तुरंत पूरी राशि उनके बैंक खाते में जमा कराई गई थी. कंपनी जांच अधिकारियों के साथ पूरा सहयोग कर रही है.’

क्या है पूरा मामला?

दरअसल, ओला इलेक्ट्रिक के कर्मचारी के. अरविंद एक होमोलोगेशन इंजीनियर के रूप में काम करते थे. पुलिस के मुताबिक, उन्होंने 28 सितंबर, 2025 को जहर खाकर कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी. उनकी मृत्यु के दो दिन बाद, कंपनी ने अरविंद के बैंक खाते में 17.46 लाख ट्रांसफर कर दिए थे. अरविंद के कमरे की तलाशी के दौरान, पुलिस को 28 पन्नों का एक सुसाइड नोट मिला.

सुसाइड नोट से चला उत्पीड़न का पता

अरविंद ने सुसाइड नोट में कथित तौर पर कंपनी के सीईओ भाविश अग्रवाल और एक अन्य अधिकारी सुब्रत कुमार दास पर मानसिक उत्पीड़न, अत्यधिक कार्यभार और वेतन व बकाया राशि का भुगतान न करने सहित गंभीर आरोप लगाए हैं. पुलिस फिलहाल मामले की जांच कर रही है.

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