नई दिल्ली। भारतीय मूल की इंडियन-अमेरिकन सिंगर चंद्रिका टंडन को ग्रैमी अवॉर्ड्स 2025 से नवाजा गया है। उन्होंने एल्बम ‘त्रिवेणी’ के लिए ‘बेस्ट न्यू एज, एम्बिएंट ऑर चैंट एल्बम’ कैटेगरी में ट्रॉफी जीती है। तीन नदियों के संगम पर आधारित त्रिवेणी एल्बम में सात म्यूजिकल ट्रैक हैं जिनमें प्राचीन मंत्रों को वर्ल्ड म्यूजिक के साथ मिलाकर बनाया गया है। ये सात म्यूजिकल ट्रैक ‘ध्यान’ से संबंधित हैं और गायिका चंद्रिका टंडन इसे आंतरिक उपचार कहती हैं। प्रतिष्ठित ग्रैमी अवॉर्ड जीतने के बाद चंद्रिका टंडन अपनी खुशी का इजहार करते हुए इसे एक बहुत ही शानदार अनुभव करार दिया। चंद्रिका के अलावा उनकी टीम में शामिल दक्षिण अफ्रीका के बांसुरी वादक वाउटर केलरमैन और जापान के सेलिस्ट इरु मात्सुमोतो को भी ग्रैमी से सम्मानित किया गया है।
सिंगर के साथ सफल बिजनेस वुमन भी हैं चंद्रिका
चेन्नई के एक मध्यम वर्गीय परिवार में जन्म लेने वाली चंद्रिका गायिका होने के साथ-साथ एक सफल बिजनेस वुमन भी हैं। अमेरिका की मशहूर मैनेजमेंट कंसल्टिंग फर्म मैक किनसे में चंद्रिका पहली भारतीय-अमेरिकी महिला पार्टनर बनीं। चंद्रिका न्यूयॉर्क में टंडन कैपिटल एसोसिएट्स फर्म की फाउंडर भी हैं। यह फर्म कंपनियों के री-स्ट्रक्चर का काम करती है।
इंदिरा नूई से ये है संबंध
चंद्रिका ने मद्रास के क्रिश्चियन कॉलेज से पढ़ाई की। इसके बाद उन्होंने देश के सबसे प्रतिष्ठित मैनेजमेंट संस्थान आईआईएम अहमदाबाद से मास्टर्स की डिग्री ली है। वो पेप्सिको की पूर्व सीईओ इंदिरा नूई की बड़ी बहन हैं। बचपन से ही संगीत में उनकी रुचि रही है। उन्होंने शास्त्रीय गायिका शुभ्रा गुहा और गायक गिरीश वज़लवार से संगीत की शिक्षा प्राप्त की है। चंद्रिका ने अपने पति रंजन के साथ मिलकर 2015 में न्यूयॉर्क स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग को 100 मिलियन डॉलर का दान दिया था। वैसे इससे पहले भी साल 2010 में चंद्रिका के एल्बम ‘ओम नमो नारायण-सोल कॉल’ को भी ग्रैमी अवॉर्ड के लिए नॉमिनेट किया गया था, हालांकि तब वो खिताब नहीं जीत सकी थीं।
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