बीसीसीआई ने हाल ही में भारत के घरेलू क्रिकेट सीजन के शेड्यूल का ऐलान किया है। भारतीय टीम के होम शेड्यूल का आगाज 2 अक्टूबर से होगा जो 19 दिसंबर तक चलेगा। भारत इस साल सबसे पहले अक्टूबर में दो मैचों की टेस्ट सीरीज के लिए वेस्टइंडीज की मेजबानी करेगी। इसके बाद फिर 14 नवंबर से टीम साउथ अफ्रीका के खिलाफ दो टेस्ट मैच, तीन मैचों की वनडे और पांच मैचों की टी20 सीरीज खेलेगी।
भारत और साउथ अफ्रीका के बीच सीरीज का पहला टेस्ट मैच 14-18 नवंबर तक दिल्ली में होना है, जो इस वक्त चर्चा बटोर रहा है। दरअसल, दिल्ली में उस वक्त काफी ज्यादा प्रदूषण होता है। एयर क्वालिटी खराब रहती है और सरकार को हर साल गाइडलाइन भी जारी करनी पड़ती है। इसके चलते ही भारत-साउथ अफ्रीका के मैच को लेकर सवाल उठने लगे हैं। हालांकि, इस बीच बीसीसीआई सेक्रेटरी देवजीत सैकिया ने दिल्ली में मैच आयोजित करने के फैसले का समर्थन करते हुए बड़ा बयान दिया है।
देवजीत सैकिया ने बोली बड़ी बातइंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक देवजीत सैकिया ने बताया,
“हमने सभी कारकों पर विचार किया है और सभी से चर्चा करने के बाद रोटेशन पॉलिसी अपनाई है। प्रदूषण की समस्या हर साल नहीं होती”।
बता दें, 2017 में भारत और श्रीलंका के बीच दिसंबर में दिल्ली में एक टेस्ट मैच खेला गया था, जिस दौरान कई खिलाड़ियों ने प्रदूषण के कारण सांस संबंधी समस्याओं की शिकायत की थी। श्रीलंकाई खिलाड़ियों ने मास्क पहनकर मैच खेला था। रिपोर्ट्स के अनुसार, दिसंबर के पहले सप्ताह में दिल्ली में एयर क्वालिटी एंडेक्स (AQI) 316 था – जो बहुत खराब एयर क्वालिटी को दर्शाता है। इतना ही नहीं, 2019 में बांग्लादेशी खिलाड़ी ने मैदान पर उल्टी की थी, जिसके कारण साल के इस समय में दिल्ली में मैचों के आयोजन पर सवाल उठे हैं।
हालांकि, दिल्ली और डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट एसोसिएशन (DDCA) का कहना है कि वे खिलाड़ियों की सेहत का पूरा ध्यान रखेंगे। सेक्रेटरी अशोक शर्मा ने कहा,
“डीडीसीए यह सुनिश्चित करने के लिए हर संभव उपाय करेगा कि खिलाड़ी टेस्ट मैच खेलते समय सहज महसूस करें। साथ ही, अरुण जेटली स्टेडियम खुले क्षेत्र में स्थित है, जिसके आसपास ज्यादा हरियाली है। इसलिए एयर क्वालिटी ज्यादातर अन्य क्षेत्रों की तुलना में बेहतर है। दिल्ली को पिछले कुछ समय से कोई टेस्ट मैच आवंटित नहीं किया गया था। बीसीसीआई ने हमें मैच आवंटित किया है, इसलिए हमें कैलेंडर के हिसाब से चलना होगा। नवंबर में, अगर प्रदूषण होता भी है, तो दिसंबर की तुलना में कम होता है।”