विद्यालय की हॉलिडे कैलेंडर शैक्षणिक सत्र 2025-26 में सरकारी और निजी स्कूलों में केवल 235 दिन कक्षाएं संचालित होंगी, जबकि 134 दिन छुट्टियां रहेंगी. इन छुट्टियों में उत्सव अवकाश, ग्रीष्मकालीन छुट्टियां, शीतकालीन अवकाश और मध्यावधि ब्रेक शामिल हैं. यह जानकारी माध्यमिक शिक्षा निदेशक सीताराम जाट द्वारा जारी शिविरा पंचांग के माध्यम से दी गई है. इस पंचांग के आधार पर पूरे वर्ष के शैक्षणिक, खेलकूद, परीक्षा और अन्य गतिविधियों का कैलेंडर निर्धारित किया गया है.
2025-26 सत्र में दीपावली और मध्यावधि अवकाश 16 अक्टूबर से 27 अक्टूबर तक रहेंगे. इसके बाद सर्दियों की छुट्टियां 25 दिसंबर से 5 जनवरी तक होंगी. वहीं, गर्मी की छुट्टियां 17 मई से 30 जून तक घोषित की गई हैं. यानी लगभग डेढ़ महीने स्कूल पूरी तरह बंद रहेंगे.
शिविरा पंचांग के अनुसार, सबसे ज्यादा छुट्टियां जून 2026 में रहेंगी. 1 से 30 जून तक पूरा महीना ग्रीष्मावकाश घोषित किया गया है. इसी दौरान 5 महत्वपूर्ण उत्सव भी आएंगे – 17 जून को महाराणा प्रताप जयंती, 21 जून अंतरराष्ट्रीय योग दिवस, 26 जून मोहर्रम और 28 जून भामाशाह जयंती. इन त्योहारों के चलते भी अतिरिक्त अवकाश मिलेगा.
कक्षा 9वीं और 11वीं की राज्य स्तरीय समान परीक्षा 23 अप्रैल से 8 मई के बीच आयोजित की जाएगी. RBSE बोर्ड परीक्षाएं (10वीं और 12वीं) फरवरी 2026 में संपन्न होंगी. परीक्षा समाप्त होने के बाद नया सत्र 1 जुलाई 2026 से प्रारंभ होगा और 16 जुलाई तक प्रवेशोत्सव का आयोजन किया जाएगा.
शिविरा पंचांग के अनुसार, तीन चरणों में परख परीक्षा आयोजित की जाएगी – 18-20 अगस्त (प्रथम), 13-15 अक्टूबर (द्वितीय), और 5-7 फरवरी (तृतीय). अर्द्धवार्षिक परीक्षाएं 12 से 24 दिसंबर तक और वार्षिक परीक्षाएं 23 अप्रैल से 8 मई के बीच कराई जाएंगी. इसके बाद 16 मई को परिणाम घोषित किए जाएंगे.
शैक्षणिक सत्र 2025-26 की शुरुआत 1 जुलाई से होगी. इसी दिन से नियमित कक्षाएं और सामान्य प्रवेश प्रक्रिया प्रारंभ होगी. कक्षा 9 से 12वीं तक के छात्रों का अंतिम प्रवेश 31 जुलाई तक ही मान्य रहेगा. 1 से 16 जुलाई तक विद्यालयों में प्रवेशोत्सव का प्रथम चरण मनाया जाएगा.
1 से 15 सितंबर 2025 तक स्वच्छता पखवाड़ा सभी राजकीय और निजी विद्यालयों में अनिवार्य रूप से मनाया जाएगा. इस दौरान छात्रों को सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूक किया जाएगा. पोस्टर प्रतियोगिता, क्विज, चलचित्र प्रदर्शन जैसी गतिविधियों के माध्यम से बच्चों में स्वच्छता के प्रति समझ विकसित की जाएगी.
शिविरा पंचांग के अनुसार, स्कूलों की समयसारणी मौसम के अनुसार बदली जाएगी.
शिविरा पंचांग 2025-26 के माध्यम से यह स्पष्ट किया गया है कि पूरे सत्र की योजना पूर्वनिर्धारित रहेगी. इससे शिक्षकों और छात्रों को पहले से ही आगामी गतिविधियों की जानकारी मिल सकेगी और शैक्षणिक गुणवत्ता में सुधार होगा.