मुंगेर: मुंगेर के कृषि विज्ञान केंद्र (केवीके) में 10 दिनों का ट्रेनिंग कैंप आयोजित हो रहा है। इसमें मधुमक्खी पालन की ट्रेनिंग दी जाएगी। 30 स्त्री किसान और युवाओं ने इसमें हिस्सा लिया है ।ट्रेनिंग के पहले दिन मधुमक्खी पालन से रोजगार के नए अवसर के बारे में कहा गया | केवीके वैज्ञानिक बी। डी। सिंह ने प्रतिभागियों को मधुमक्खियों की देखभाल, शहद निकालने की प्रक्रिया और छत्ते के रखरखाव के बारे में जानकारी दी | बी। डी। सिंह के अनुसार शहद को अमृत माना जाता है। हमें मधुमक्खी से शहद ,मोम,प्रोपोलिस, विष जैसे अनेकों लाभ वाला चीजें मिलती हैं। ये सभी जीवन में काफ़ी उपयोगी होते है।
वैज्ञानिक बी। डी। सिंह बताते है मधुमक्खी पालक बनने से लोग अपने जीवन मे बड़ा परिवर्तन देख सकते हैं। आज कल मधुमक्खी से निकलने वाला हर चीज का बाजार में हाई डिमांड के साथ अच्छा फायदा भी है। इनसे बनने वाले प्रोडक्ट से भी अपने बिजनेस को विकसित कर सकते है।
ट्रेनिंग करने पर मिलेगा सर्टिफिकेट
ट्रेनिंग लेने के बाद सभी लोगों को सर्टिफिकेट दिया जायेगा और इसमें रोजगार करने के लिये डिस्कांउटेड दर पर बक्सा दिया जायेगा।बी। डी सिंह बताते हैं कि मुंगेर के युवा मधुमक्खी पालन मे बढ़ चढ़ कर हिस्सा ले रहे हैं।
ट्रेनिंग के साथ मिल रहा है पैसा
केवीके मधुमक्खी पालन का ट्रेनिंग लेने आये सभी युवा युवतियों को ट्रेनिंग के साथ साथ 2175 रुपया भी मिल रहा है। ट्रेनिंग कैंप में हिस्सा ले रही रूपा रानी बताती है कि वह गृहणी है और यहां से ट्रेनिंग लेकर मधुमक्खी पालक बनकर रोजगार करेगी | वहीं ट्रेनिंग ले रहे युवा अखिलेश बताते हैं कि वह जॉब की तैयारी कर रहे हैं और अभी बेरोजगार हैं। ट्रेनिंग लेकर मधुमक्खी पालक बन इससे होने वाले प्रोडक्ट से बिजनेस करना चाहते हैं।